Big Breaking : बद्रीनाथ के निकट माणा गांव में ग्लेशियर टूटा, 57 के करीब मजदूर दबे

चमोली बद्रीनाथ धाम में माणा गांव के पास गलेशियर आने से 57 मजदूर दबे 10 मजदूरों को बचा लिया गया बाकी 47 मजदूरों की ढूंड खोज जारी है ये सभी मजदूर बीआरओ के कांटेक्टर में लगे ठेकेदार के बताए जा रहे हैं। बताया जा रहा है कि चमोली के ऊपरी इलाकों में कई दिनों से भारी बर्फभारी हो रही थी।
बद्रीनाथ मंदिर से तीन किलोमीटर दूर हाईवे के पास हिमस्खलन आया है। इसमें 57 मजदूरों के दबे होने की सूचना है, जिसमें से दस को बचा लिया गया है। उत्तराखंड का माणा गांव भारत और चीन के बॉर्डर पर है। यहां सेना का बेस कैंप है। लिहाजा सेना सबसे पहले बचाव कार्य में जुटी है। एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीमों को भेजा गया है। हिमस्खलन को लेकर बीआरओ की टीमें भी बचाव कार्य में जुट गई हैं।
खराब मौसम के कारण यहां लगातार बर्फबारी और बारिश हो रही है। देहरादून से भी कंट्रोल रूम बनाकर संपर्क साधा जा रहा है, लेकिन अभी अधिकारी बहुत कुछ कहने की स्थिति में नहीं है। माणा गांव जोशीमठ और केदारनाथ और बद्रीनाथ धाम से ज्यादा दूर नहीं है। सामरिक दृष्टि से यह बेहद अहम इलाका है। आपदा कंट्रोल रूम का कहना है कि आईटीबीपी की टेक्निकल टीमों को उधर भेजा गया है। हेलीकॉप्टर को भी आपातकाल मोड में रखा गया है।
आईटीबीपी के अधिकारी राजकुमार नेगी का कहना है कि वहां सड़क निर्माण कार्य चल रहा था, तभी बर्फ का बड़ा पहाड़ टूटा। जोशीमठ से यह इलाका 45 किलोमीटर दूर है,वहां भी सेना का बड़ा शिविर है, ऐसे में सेना की इमरजेंसी टीमें भी वहां भेजी गई हैं।